जल भराव के बावजूद नगर निगम को है किसी बड़े हादसे की प्रतीक्षा: संजर मलिक

पानी की निकासी न होने के कारण तालाब बन जाती हैं सड़कें

मुहल्ले के लोग आक्रोशित, बना रहे हैं आंदोलन का मन

हजारीबाग: हजारीबाग का एक मोहल्ला, जो हल्की सी बारिश में भी तालाब का रूप ले लेता है। इस मोहल्ले का नाम है पगमिल फ्रेंड्स कॉलोनी। इस इलाके में स्कूल है, मस्जिद है, हॉस्पिटल है, लेकिन नगर निगम की नजर नहीं है। यहां थोड़ी सी भी बारिश होते ही सड़कें नाले का रूप ले लेती हैं। इस स्थिति को देखते हुए मोहल्ले के लोगों ने अब नगर निगम और प्रशासन के विरुद्ध आंदोलन छेड़ने का मन बनाना शुरू कर दिया है।

इस संबंध में समाजसेवी एवं शांति समिति के सदस्य तथा राजद के जिला अध्यक्ष संजर मलिक ने बताया कि यहां पानी की निकासी न होना एक बड़ी समस्या है। इस स्थिति को सुधारने के लिए इलाके के निवासियों ने नगर निगम के साथ ही जिले के अन्य उच्च पदाधिकारियों के समक्ष लिखित एवं मौखिक आवेदन भी दिया, कई बार विनती की। परंतु कोई नतीजा नहीं निकला।

उन्होंने बताया कि वार्ड नंबर 21 के अंतर्गत आने वाले इस इलाके में हल्की भी बारिश होते ही जल भराव हो जाता है, जिससे गड्ढे भी नजर नहीं आते। इस कारण कई बार महिलाएं, बुजुर्ग और छोटे बच्चे चोटिल हो चुके हैं। उन्होंने बताया कि वे स्वयं यहां की स्थिति को सुधारने के लिए सड़कों पर उतरकर आंदोलन कर चुके हैं। बैल और हल लेकर आवाज उठा चुके हैं। परंतु किसी ने भी अब तक इस विषय पर संज्ञान नहीं लिया।

संजर मलिक ने बताया कि अब स्थिति यह हो गई है कि लोग खुद को ठगा हुआ महसूस करने लगे हैं। मोहल्ले के लोग अब सड़क जाम करके, अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन करके एवं जन-आक्रोश रैली आयोजित करके अपनी बातों को लोकतांत्रिक तरीके से उठाने का मन बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि यहां मंत्री भी आते हैं, बैठकों में हिस्सा लेते हैं, प्रशासनिक अधिकारियों से मिलते हैं और गुलदस्ता लेकर चले जाते हैं। परंतु जनता की समस्या पर कोई भी ध्यान नहीं देता।

उन्होंने नगर निगम पर इस इलाके के साथ सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाते हुए कहा कि विभाग के लोग यहां आते हैं और स्थिति देखकर चले जाते हैं। परंतु जल निकासी के लिए कोई कदम नहीं उठाते। जब उन्हें फोन किया जाता है, तो वह फोन भी नहीं उठाते। ऐसी स्थिति में इस क्षेत्र के लोग अपनी फरियाद लेकर जाएं भी तो जाएं कहां।

संजर मलिक ने कहा कि शायद नगर निगम और उच्च अधिकारियों को यहां किसी बड़े हादसे की प्रतीक्षा है। यहां पर पहले भी कई बार ऑटो रिक्शा और मोटर बाइक आदि दुर्घटना का शिकार हो चुके हैं और लोग घायल हो चुके हैं। इसी इलाके में मस्जिद, स्कूल और नर्सिंग होम भी हैं। इस कारण स्कूली बच्चों और आम लोगों के सामने बहुत बड़ी समस्या मौजूद है। यदि नगर निगम और उच्च अधिकारी तत्काल इस दिशा में कोई ध्यान नहीं देते हैं, तो इलाके के लोग बड़ा आंदोलन छेड़ने के लिए विवश हो जाएंगे।

(स्रोत: वीएनएन - भारत)

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